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हैदराबाद के एक प्राइवेट स्कूल की नर्सरी फीस 2.5 लाख रुपये सामने आने के बाद बहस छिड़ गई है. लोग सवाल उठा रहे हैं कि क्या शिक्षा अब सिर्फ अमीरों के लिए रह गई है?
शिक्षा को देश में मौलिक अधिकार माना गया है, लेकिन आज यह अधिकार आम लोगों के लिए लग्ज़री बनता जा रहा है. हैदराबाद के एक प्राइवेट स्कूल की नर्सरी क्लास की फीस सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है, जिसने लोगों को चौंका दिया है. इस स्कूल की सालाना फीस 2.5 लाख रुपये के करीब है, यानी ABCD सीखने के लिए हर महीने करीब 21,000 रुपये देने होंगे. अब लोग पूछ रहे हैं—क्या स्कूल अब शिक्षा दे रहे हैं या कारोबार कर रहे हैं?
दरअसल, धर्मा पार्टी ऑफ इंडिया की संस्थापक अनुराधा तिवारी ने स्कूल का फीस स्ट्रक्चर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर पोस्ट किया, जिसके मुताबिक नर्सरी की सालाना फीस 2,51,000 रुपये है. अनुराधा ने तंज कसते हुए लिखा, 'अब ABCD सीखने के लिए भी 21,000 रुपये महीना देना होगा.'
Class- Nursery
— Anuradha Tiwari (@talk2anuradha) July 30, 2025
Fees - Rs 2,51,000/-
Now, learning ABCD will cost you Rs 21,000 per month.
What are these schools even teaching to justify such a ridiculously high fee? pic.twitter.com/DkWOVC28Qs
पोस्ट के वायरल होते ही सोशल मीडिया पर बहस छिड़ गई. एक तरफ कुछ लोगों ने कहा कि अगर फीस नहीं भर सकते तो ऐसे स्कूलों से दूर रहना चाहिए, वहीं दूसरी तरफ कई यूजर्स ने इस सिस्टम को 'खुला शोषण' करार दिया. वहीं कुछ लोगों ने कहा कि सरकार को ऐसे स्कूलों पर रेगुलेशन लाना चाहिए, वरना ये पूरा सिस्टम सिर्फ पैसे वसूलने का जरिया बन जाएगा.
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बताते चलें कि, स्कूल की फीस लिस्ट और भी चौंकाने वाली है. प्री-प्राइमरी I और II की फीस 2,42,700 रुपये सालाना है, जबकि क्लास 1 और 2 के लिए यह बढ़कर 2,91,460 रुपये हो जाती है. यानी जैसे-जैसे बच्चा आगे बढ़ेगा, फीस भी बढ़ती जाएगी. अब बड़ा सवाल ये है कि क्या सरकार इस पर कोई ठोस नीति लाएगी? क्योंकि अगर यही रफ्तार रही तो शिक्षा, आम लोगों की पहुंच से बाहर होती चली जाएगी.
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