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टेक-ऑटो
Electric Vehicle के मामले में भारत का मार्केट धीरे-धीरे आगे बढ़ रहा है और अब वाहनों के दामों में भारी गिरावट लाने के लिए जीएसटी घटाने का एक फैसला देश में ईवी सेक्टर में एक नया बूम ला सकता है.
डीएनए हिंदी: देश-विदेश में तेजी से पेट्रोल से निर्भरता खत्म की जा रही है. ऐसे में भारत में भी इलेक्ट्रिक वाहनों (Electric Vehicles) का बाजार काफी तेजी से बढ़ रहा है. वहीं केंद्र सरकार भी चाहती है कि ज्यादा से ज्यादा इलेक्ट्रिक वाहन खरीदें जाएं. ऐसे में अब केंद्र सरकार ने बैटरी पैक पर लगने वाले वस्तु एवं सेवा कर यानी GST को 18 प्रतिशत से घटाकर 5 प्रतिशत कर दिया है जिससे ईवी के भारत में और सस्ते होने की संभावना है.
दरअसल, भारत सरकार द्वारा GST पर रियायत देने का मकसद देश में इलेक्ट्रिक वाहनों के प्रोडक्शन और डिमांड को और बढ़ाना माना जा रहा है. इस फैसले को लेकर वित्त मंत्रालय ने कहा कि GST दर में कटौती का फैसला बीते महीने जीएसटी काउंसिल द्वारा लिया गया था. ऐसे में ईवी निर्माता और विस्तार से भारतीय ग्राहक ईवी बैटरी टैक्स में कटौती का लाभ उठा पाएंगे. आपको बता दें कि एक इलेक्ट्रिक वाहन का बैटरी पैक उसकी लागत का 50% तक होता है और इससे ही वाहनों की कीमत में ज्यादा इजाफा होता है.
गौरतलब है कि केंद्र सरकार ने GST में कटौती का यह फैसला पहली बार नहीं लिया है. इससे पहले भी केंद्र सरकार ने 2018 में बैटरी पैक पर जीएसटी को घटाकर 28 प्रतिशत से घटाकर 18 प्रतिशत कर दिया गया था. आपको बता दें कि पिछले दो वर्षों में इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री में बढ़ोतरी हुई है. ऐसे मे यह माना जा रहा है कि इस बार जीएसटी बढ़ने से देश में ईवी की कीमतें पहले से लगभग 40 प्रतिशत तक कम हो जाएंगी और देश में इलेक्ट्रिक वाहनों की एक क्रांति देखने को मिलेगी.
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केंद्र सरकार का यह फैसला एक तरफ जहां देश में इलेक्ट्रिक वाहनों की कीमतों को सर्वाधिक प्रभावित करने वाला माना जा रहा है तो दूसरी ओर इस फैसले से कंपनियों का रुझान भी ईवी प्रोडक्शन पर ज्यादा होगा. ऐसे में कंपनियों के नए प्रोडक्शन प्लांट्स में युवाओं को अनेकों रोजगार मिलने की संभावनाएं भी होंगी जो कि देश के लिए दोहरे आर्थिक फायदे की तरह माना जा रहा है.
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