Twitter
Advertisement

IND vs ENG 5TH Test Day 4 Highlights: बारिश के कारण दिन का खेल खत्म, मुश्किल में इंग्लैंड; जीत के लिए चाहिए 35 रन

Rashifal 04 August 2025: कर्क और धनु वाले सेहत का रखें खास ध्यान, जानें आज मेष से मीन तक की राशियों का भाग्यफल

UP News: ड्रोन से डर फैलाने वालों पर योगी सरकार का वार, NSA और गैंगस्टर एक्ट में होगी कार्रवाई

Joe Root Century: ब्रूक के बाद जो रूट का शतक, दांव पर लगा सचिन तेंदुलकर का रिकॉर्ड; संगकारा को भी पछाड़ा

जब टीचर ने पूछा, फोन क्यों नहीं देखना चाहिए? बच्चों ने दिए ऐसे जवाब, सुनकर हैरान रह जाएंगे आप! Video Viral

IND vs ENG: कैच पकड़ने के बाद कैसे मिला हैरी ब्रूक को छक्का? सिराज की एक गलती से हारेगी टीम इंडिया, मांगनी पड़ी माफी

दुनिया के इन 5 देशों के पास है सबसे ज्यादा UNESCO वर्ल्ड हेरिटेज साइट्स! जानें कहां है भारत

कौन हैं Karishma Kotak? जिन्हें WCL के मालिक ने लाइव टीवी पर किया प्रपोज, बला की खूबसूरत हैं एंकर

एक्ट्रेस संगीता बिजलानी ने TIGP 2025 ब्यूटी क्वीन्स को पहनाया ताज, जानें टीन से लेकर मिस और मिसेज इंडिया का ताज किसके सिर सजा? 

दो EPIC नंबर वाले वोटर आईडी को लेकर बुरे फंसे तेजस्वी यादव, चुनाव आयोग ने भेज दिया नोटिस

Sawan Puja 2022: MP के इस शिवलिंग का हर साल बढ़ता है आकार, जानिए इसके पीछे की अद्भुत कहानी

Madhyapradesh के खजुराहो में एक ऐसा शिवलिंग है जिसका आकार हर साल बढ़ता है, जानिए इस शिवलिंग के पीछे की कहानी और क्या है इसका महत्व

Sawan Puja 2022: MP के इस शिवलिंग का हर साल बढ़ता है आकार, जानिए इसके पीछे की अद्भुत कहानी

डीएनए हिंदी: सावन (Sawan 2022) के महीने में भोलेनाथ (Lord Shiva) के भक्त उनके दर्शन करने के लिए दूर दूर जाते हैं. कई लोग तो 12 ज्योर्तिलिंगों के दर्शन भी करते हैं. सावन में शिवलिंगों का दर्शन करना बहुत ही शुभ माना जाता है. मान्यता है कि अगर इनके दर्शन किए तो मन इच्छा का फल प्राप्त होता है. मध्यप्रदेश (MP Shivling) में शिवलिंग तो कई हैं लेकिन खजुराहो में स्थित एक शिवलिंग है जो बहुत ही खास है.

आपको सुनकर चौंक जाएंगे कि इस शिवलिंग का आकार हर साल बढ़ता जाता है. आईए इसके बारे में विस्तार से जानते हैं 

लगातार बढ़ने वाला शिवलिंग (Shivling turns bigger every year)

खजुराहो एक पर्यटन स्थल है और यहां शिव का प्राचीन मंदिर मातंगेश्‍वर है.इस मंदिर में जो शिवलिंग (Old Shivling) है उसका आकार काफी बड़ा है और खास बात है कि यह हर साल बढ़ता जाता है. इसकी ऊंचाई 9 मीटर है. इस शिवलिंग के दर्शन के लिए देश के कोने-कोने से श्रद्धालु यहां पहुंचते हैं.कहा जा रहा है कि यहां के इस शिवलिंग का आकार हर साल करीब एक इंच बढ़ता है. इस शिवलिंग को हर साल इंच टेप से नापा जाता है, जिससे इसके आकार के बढ़ने की पुष्टि होती है.इस शिवलिंग को लेकर यह भी दावा किया जाता है कि जितना यह शिवलिंग धरती के ऊपर है,उतना ही नीचे भी है. 

यह भी पढ़ें- सावन महीने के मंगलवार को होता है मंगला गौरी व्रत, जानिए इस व्रत का महत्व

मान्यता है कि इस मंदिर का ऊपरी हिस्‍सा स्‍वर्ग और निचला हिस्‍सा पाताल में है.यह मंदिर लक्ष्‍मण मंदिर के पास स्थित है और 35 फीट वर्गाकार है.मंदिर का गर्भगृह भी वर्गाकार है.इस मंदिर का प्रवेश द्वार पूरब की तरफ है.इस मंदिर को लेकर कहा जाता है कि इसका निर्माण 900 से 925 ईसवीं के आसपास किया गया था तो आप अंदाजा लगा सकते हैं कि अब तक इसका आकार कितना बढ़ गया होगा.  

यह भी पढ़ें- तीज में मनाएं सिंधारे की रस्म, जानिए क्या है सिंधारा

सावन में लगता है भक्तों का तांता (Pilgrims visit in Every Sawan)

mp shivling

सावन के महीने में इस मंदिर में शिव भक्तों का तांता लगा रहता है. शिव के भक्त बड़ी ही भक्ति से पूजा अर्चना करते हैं और उनकी मनोकामनाएं पूरी भी होती हैं. इस मंदिर को लेकर पौराणिक कथा है कि भगवान शिव के पास पन्ना रत्न था, जिसे उन्होंने युधिष्ठिर को दिया था.युधिष्ठिर से वह मणि मतंग ऋषि के पास पहुंची और उन्होंने उसे राजा हर्षवर्मन को दे दिया.राजा हर्षवर्मन ने इस मणि को जमीन में गाड़ दिया.जिससे यह शिवलिंग इस मणि के ऊपर प्रकट हुआ है. मतंग ऋषि के रत्न के कारण ही इसका नाम मातंगेश्वर महादेव (Matangeshwar Mahadev) पड़ा.

देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगलफ़ेसबुकट्विटर और इंस्टाग्राम पर.

Read More
Advertisement
Advertisement
पसंदीदा वीडियो
Advertisement