Twitter
Advertisement

Lionel Messi करेंगे 14 साल बाद भारत का दौरा, विराट-रोहित साथ खेलेंगे मैच; इतनी होगी टिकट की कीमत

Samudrik Shastra: नाक की बनावट बताती हैं व्यक्ति की आदतों से लेकर उसका स्वभाव, जानें क्या कहता है सामुद्रिक शास्त्र  

जब भारत ने अमेरिकी ताकत को दी चुनौती, इतिहास की ये घटनाएं हैं गवाही

Diabetes Upay: डायबिटीज के मरीज मानसून में कैसे रखें शुगर कंट्रोल? जानिए बेस्ट आयुर्वेदिक उपाय 

Asia Cup 2025 से पहले बढ़ी टीम इंडिया की टेंशन, जसप्रीत बुमराह नहीं खेलेंगे टूर्नामेंट? सामने आया बड़ा अपडेट

गांधारी ने कौरवों की मृत्यु के बाद भगवान श्रीकृष्ण और शकुनि को क्यों दिया श्राप, जानें महाभारत के अंत में क्या हुआ

Prajwal Revanna: पूर्व JDS सांसद प्रज्वल रेवन्ना को रेप केस में उम्र कैद की सजा, अदालत ने सुनाया सख्त फैसला

Home Loan: होम लोन लेते समय की ये गलतियां तो 20 की जगह 33 साल तक भरनी पड़ेगी EMI

CLT10 2025: इस क्रिकेट टीम की मालकिन हैं चहल की 'रूमर्ड' गर्लफ्रेंड RJ Mahvash, ऑक्शन में दिया बड़ा बयान

Heart Risk: खाने की ये सफेद चीज बढ़ाती है Heart Attack का खतरा, जानिए क्या है इसकी वजह

70 Hours Work Row: 'समय की कोई सीमा नहीं' पति Narayana Murthy के 70 घंटे काम वाले सुझाव पर क्या बोलीं Sudha Murthy

70 Hours Work Row: आईटी कंपनी Infosys के सह-संस्थापक Narayana Murthy ने कई महीने पहले एक सप्ताह में कर्मचारियों से 70 घंटे काम लेने का सुझाव रखा था, जिसे लेकर बेहद विवाद हुए हैं. उनकी पत्नी Sudha Murthy ने पहली बार इस पर रिएक्शन दिया है.

Latest News
70 Hours Work Row: 'समय की कोई सीमा नहीं' पति Narayana Murthy के 70 घंटे काम वाले सुझाव पर क्या बोलीं Sudha Murthy

70 Hours Work Row: एक सप्ताह में काम करने के कितने घंटे होने चाहिए? इसे लेकर पिछले दिनों तब बहस शुरू हुई थी, जब इंफोसिस (Infosys) जैसी आईटी कंपनी के सह-संस्थापक नारायण मूर्ति (Narayana Murthy) का सुझाव सामने आया था. नारायण मूर्ति ने एक सप्ताह में काम के घंटे बढ़ाकर 70 करने की सलाह दी थी ताकि ज्यादा से ज्यादा प्रॉडक्टिविटी को बढ़ावा दिया जा सके. नौकरीपेशा वर्ग में अधिकतर लोगों ने इसे वर्कर्स का शोषण करार देते हुए नारायण मूर्ति की आलोचना की थी. हालांकि उद्योग जगत इस सलाह पर बंटा हुआ नजर आया था. कई जाने-माने उद्योगपतियों ने इस सुझाव को गलत बताया था तो कई नामी हस्तियां नारायण मूर्ति के सुझाव के समर्थन में भी उतरी थीं. नारायण मूर्ति की पत्नी और जानी-मानी लेखिका व समाजसेविका सुधा मूर्ति (Sudha Murthy) ने अब तक इस पर कोई रिएक्शन नहीं दिया था. हर बात पर मुखर तरीके से अपने विचार रखने वाली सुधा मूर्ति ने पहली बार अपने पति के इस सुझाव पर अपनी बात रखी है. राज्य सभा सांसद सुधा ने एक टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू में कहा कि मेरा मानना है, जब लोग गंभीरता और पैशन के साथ कुछ करने के लिए आगे आएं तो 'समय की कभी कोई सीमा नहीं हो सकती है.' उन्होंने यह भी कहा कि भगवान ने हर एक को दिन में 24 घंटे ही दिए हैं. यह आप पर है कि आप उसे कैसे उपयोग करते हैं. साथ ही उन्होंने पति और पत्नी के आपसी सहयोग पर भी बहुत अहम बात कही है.

'70 घंटे काम करके ही बन सकती है इंफोसिस जैसी कंपनी'
सुधा मूर्ति ने कहा कि मेरे पति ने जब इंफोसिस कंपनी बनाने का निर्णय लिया तो उनके पास पैसा नहीं था. उन्होंने NDTV के एक शो में दिए इंटरव्यू में कहा,'इंफोसिस बनाने के लिए मेरे पति के पास पैसा नहीं था, लेकिन समर्पित सहयोगी थे और आखिर में यह (इंफोसिस जैसी कंपनी खड़ी करना) केवल तभी संभव हो पाया, जब उन लोगों ने 70 घंटे या उससे भी ज्यादा समय के लिए काम किया.' सुधा मूर्ति ने दावा किया कि अन्यथा यह संभव नहीं हो सकता था. कोई 'जादू की छड़ी' नहीं थी, जो इंफोसिस को 'इतना बड़ा' बना सकती थी. सुधा मूर्ति ने कहा, 'यह केवल कड़ी मेहनत थी, कुछ हद तक किस्मत का असर था. कुछ हद तक सही समय या सही जगह पर काम करना था, सब कुछ इसमें शामिल था.'

70 घंटे काम करेंगे तो पर्सनल लाइफ का क्या होगा?
जब सुधा मूर्ति से यह सवाल पूछा गया कि यदि कोई 70 घंटे काम करेगा तो उसकी पर्सनल लाइफ का क्या होगा तो उन्होंने कहा,'मैंने उन्हें (नारायण को) कहा कि आप इंफोसिस की देखभाल कीजिए, जबकि मैं अपना और परिवार का ध्यान रखूंगी. मैंने यह निर्णय लिया था. साथ ही मैंने यह भी निर्णय लिया था कि शिकायत करने और अपने पति से यह कहने का कोई मतलब नहीं है कि ओह, आप वहां नहीं हैं, क्योंकि वह एक बड़ा काम कर रहे थे.' 

'पत्रकार और डॉक्टर तो 90 घंटे तक काम करते हैं'
सुधा मूर्ति ने साथ ही यह भी कहा कि केवल मेरे पति ही नहीं दूसरे बिजनेस में लगे लोग जैसे पत्रकार और डॉक्टर तो 90 घंटे तक काम करते हैं. उन्होंने कहा कि जब मेरे पति इंफोसिस में बिजी थे, तब मैं घर संभाल रही थी, बच्चों को बड़ा कर रही थी और यहां तक कि एक कॉलेज में कंप्यूटर साइंस भी पढ़ाना शुरू कर दिया था. सुधा ने कहा,'मैंने सीखा कि मुझे व्यस्त रहने के लिए अपना रास्ता खुद बनाना होगा और यह नहीं सोचना होगा कि मेरे पास समय नहीं है या आपके पास समय नहीं है और इस बात का आनंद लेना होगा. मैं पहले भी लिखती थी, लेकिन मैंने थोड़ा और लिखना शुरू कर दिया.' 

'भगवान ने अमीर हो या गरीब, सबको 24 घंटे ही दिए हैं'
सुधा ने साथ ही यह भी जोड़ा कि हर सफल औरत के पीछे एक पुरुष की समझ होती है. इसलिए जब मूर्ति काम कर रहे थे तो मैंने उन्हें सपोर्ट किया और अब मैं काम कर रही हूं तो मूर्ति सपोर्ट कर रहे हैं. इसे ही जिंदगी कहते हैं. उन्होंने साथ ही कहा,'भगवान ने सभी को 24 घंटे ही दिए हैं, चाहे वह अमीर हो या गरीब, सुंदर हो या बदसूरत. यह आप पर है कि आप उन्हें कैसे बिताना चाहते हैं. यदि आप अपनी जिंदगी में बेसब्री से कुछ पाना चाहते हैं तो उसके लिए समय चाहिए और यदि आप अपने काम के प्रति जुनूनी हैं तो आपके पार्टनर को आपका सपोर्ट करना चाहिए.'

अपनी राय और अपने इलाके की खबर देने के लिए हमारे गूगलफेसबुकxइंस्टाग्रामयूट्यूब और वॉट्सऐप कम्युनिटी से जुड़ें.

Read More
Advertisement
Advertisement
पसंदीदा वीडियो
Advertisement