कौन हैं Karishma Kotak? जिन्हें WCL के मालिक ने लाइव टीवी पर किया प्रपोज, बला की खूबसूरत हैं एंकर
दो EPIC नंबर वाले वोटर आईडी को लेकर बुरे फंसे तेजस्वी यादव, चुनाव आयोग ने भेज दिया नोटिस
Sugar Remedy: इस पेड़ की पत्तियों में है ब्लड शुगर कंट्रोल करने की ताकत, जानें इस्तेमाल का तरीका
IND vs ENG: अगर ड्रॉ हुई भारत-इंग्लैंड सीरीज, तो कहां रखी जाएगी एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी?
मुंबई से अहमदाबाद सिर्फ 127 मिनट में! भारत की पहली बुलेट ट्रेन को लेकर अश्विनी वैष्णव का बड़ा ऐलान
IND vs ENG: कौन है यशस्वी जायसवाल की 'रूमर्ड' गर्लफ्रेंड? जिसे ओवल में शतक के बाद दी 'Flying Kiss'?
अंतर्राष्ट्रीय खबरें
Geo-Politik की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि यह वायरस पाकिस्तान के मिलिट्री हेडक्वार्टर रावलपिंडी शहर की लैब में बन रहा है.
डीएनए हिंदी: पूरी दुनिया में कहर मचा रहे कोविड-19 वायरस (Covid-19 Virus) से अब भी जूझ रहा चीन इससे सबक सीखने को तैयार नहीं है. एक दहला देने वाली रिपोर्ट में दावा किया गया है कि चीन अब इससे भी ज्यादा खतरनाक पैथोजेन्स (Pathogens) तैयार कर रहा है. इस बार उसे इस काम के लिए पाकिस्तान का भी साथ मिल गया है. हालांकि चीन लैब में बनाए जा रहे इस बेहद खतरनाक वायरस को अपनी धरती पर बनाने के बजाय इसके लिए पाकिस्तानी सरजमीं का इस्तेमाल कर रहा है ताकि किसी अनहोनी की स्थिति में उसकी जनता सुरक्षित रह सके. साथ ही वायरस की उत्पत्ति का आरोप भी पाकिस्तान के मत्थे थोपा जा सके. रिपोर्ट के मुताबिक, यह वायरस पाकिस्तानी सेना का हेडक्वार्टर कहलाने वाले रावलपिंडी शहर की एक रिसर्च लैब में बनाया जा रहा है.
पाकिस्तानी सेना की रिसर्च विंग का है योगदान
ANI न्यूज एजेंसी ने GEO-Politik की रिपोर्ट के हवाले से बताया कि यह खतरनाक वायरस एक स्पेशल प्रोजेक्ट के तहत बनाया जा रहा है. यह प्रोजेक्ट चीन का वुहान इंस्टीट्यूट (Wuhan Institute) और पाकिस्तान का डिफेंस साइंस एंड टेक्नोलॉजी ऑर्गनाइजेशन (Defence Science and Technology Organisation) मिलकर चला रहे हैं. बता दें कि DSTO पाकिस्तान सेना (Pakistan Army) का ही रिसर्च विंग है. रिपोर्ट में यह भी दावा किया गया है कि यह स्पेशल प्रोजेक्ट साल 2020 से ही चलाया जा रहा है.
पढ़ें- G20 लोगो अनावरण में पीएम मोदी ने क्यों याद दिलाए भगवान बुद्ध और महात्मा गांधी
पाकिस्तान ने खारिज किए दावे
पाकिस्तान ने हालांकि ऐसे सभी दावे खारिज कर दिए हैं. रिपोर्ट के मुताबिक, पाकिस्तान के विदेश कार्यालय ने कहा कि रिपोर्ट में जिस लेबोरेटरी ऑफ पाकिस्तान को लेकर दावा किया गया है, वहां बायो-सेफ्टी लेवल-3 (BSL-3) को लेकर कुछ भी गोपनीय नहीं है. कार्यालय ने कहा कि यह लेबोरेटरी रावलपिंडी में चकलाला कैंटोन्मेंट (Chaklala cantt) एरिया में मौजूद है. यह एक बेहद सुरक्षित इलाका है और इस लेबोरेटरी का हेड 2 स्टार मिलिट्री जनरल को बनाया जाता है.
पढ़ें- एस जयशंकर का बड़ा बयान, 'रूसी कच्चा तेल है भारत के लिए आर्थिक फायदा'
पहले भी किए गए हैं चीन को लेकर दावे
चीन के अब भी खतरनाक वायरस विकसित करने में जुटा होने के दावे पहले भी कई मीडिया रिपोर्ट मे किए जा चुके हैं. इन मीडिया रिपोर्ट में यह भी दावे किए गए थे कि चीन का नया वायरस कोरोना (Corona) से भी ज्यादा खतरनाक होगा और उससे कहीं ज्यादा नुकसान कर सकता है.
चीन अब भी जूझ रहा है कोरोना से
दुनिया में भले ही कोरोना वायरस (Corona Virus) को अब तकरीबन खत्म मान लिया गया हो, लेकिन चीन में अब भी इस वायरस से जूझने का काम जारी है. चीन में एक बार फिर कोविड मामलों में तेजी आने के बाद चीनी अधिकारियों ने जगह-जगह बेहद सख्त लॉकडाउन लगा दिए हैं. इनमें झेंगझोऊ (Zhengzhou) में दुनिया की सबसे बड़ी iphone निर्माता फैक्ट्री के आसपास का इलाका भी शामिल है. इसके चलते एपल (Apple Inc) को पूरी दुनिया में iphone 14 की डिलीवरी में देरी होने का बयान जारी करना पड़ा है. यह फैक्ट्री ताइवानी कंपनी फॉक्सकॉन (Foxconn) की है, जो एपल के लिए सबसे बड़ा सप्लायर है.
देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगल, फ़ेसबुक, ट्विटर और इंस्टाग्राम पर.